चटुवापुरी धाम में पुस्तकों का विमोचन एवं कवि-सम्मेलन सम्पन्न
– “सरगम के मेले” राष्ट्रीय साझा काव्य-संग्रह में शामिल 51 साहित्यकारों को छत्तीसगढ़ कलमकार मंच द्वारा “कलमकार साहित्य सरगम सम्मान ।
(मनोज जायसवाल)
बेमेतरा(सशक्त हस्ताक्षर)। प्रदेश के जिला बेमेतरा के जनपद पंचायत बेरला अन्तर्गत गुरु अमरधाम चटुवापुरी के विशाल हाल में 5 मार्च 2023 को छत्तीसगढ़ कलमकार मंच के तत्वावधान में साहित्य वाचस्पति- डाॅ. किशन टण्डन क्रान्ति की 4 पुस्तकों का विमोचन करतल ध्वनि के बीच वरिष्ठ साहित्यकारों, राजमहन्तों, सन्तजनों एवं स्थानीय जनप्रतिनिधियों की गरिमामयी उपस्थिति में सम्पन्न हुआ। इन पुस्तकों में “सरगम के मेले” सम्पादकीय राष्ट्रीय साझा काव्य-संग्रह, “मेरे अल्फ़ाज़” ग़ज़ल-संग्रह, “दस्तूर” लघुकथा-संग्रह एवं “देवी या दासी?” काव्य-संग्रह शामिल हैं।
“सरगम के मेले” राष्ट्रीय साझा काव्य-संग्रह में शामिल 51 साहित्यकारों को शासन द्वारा पंजीकृत राज्य स्तरीय समिति – छत्तीसगढ़ कलमकार मंच द्वारा “कलमकार साहित्य सरगम सम्मान-2023” प्रदान किया गया।
कविताओं ने समां बांधा
सर्वप्रथम अमरधाम चटुवापुरी के विशाल मन्दिर में माथा टेककर निरन्तर प्रज्जवलित सत्यज्योति का दर्शन कर आशीष प्राप्त किया गया। तत्पश्चात पास में ही स्थित विशाल धर्मशाला में सन्त शिरोमणि गुरु घासीदास जी की प्रतिमा पर दीप प्रज्जवलन एवं माल्यार्पण पश्चात मंचस्थ अतिथियों एवं साहित्यकारों का सम्मान पुष्पाहार एवं गुलदस्ता भेंट कर किया गया। पश्चात कवि सम्मेलन आरम्भ हुआ। कवि सम्मेलन में रायपुर, बिलासपुर, बेमेतरा, कवर्धा, बलौदाबाजार, मुंगेली सहित प्रदेश भर से पधारे 18 जाने माने कवियों एवं साहित्यकारों ने शिरकत की और अपनी मनभावन कविताओं से समा बांधा। इस मौके पर उपस्थित लोगों ने कार्यक्रम का भरपूर आनन्द लिए।
कवि सम्मेलन में छत्तीसगढ़ कलमकार मंच के संस्थापक-अध्यक्ष साहित्य वाचस्पति डॉ. किशन टण्डन क्रान्ति ने कहा- “गुरुजी के आशीर्वाद तथा आप सबकी शुभकामनाओं से हमने विगत आठ माह में मंच के बैनर तले 21 पुस्तकों का विमोचन कर आठ स्थानों पर कवि सम्मेलन का आयोजन कर एक कीर्तिमान स्थापित किया है। ये सिलसिले निरन्तर जारी रहेंगे।” कार्यक्रम में उपाध्यक्ष श्री जुगेश बंजारे धीरज, मीडिया प्रभारी मणिशंकर दिवाकर गदगद, डॉ. दुर्गाप्रसाद मेरसा, महासचिव जगतारन प्रसाद डहरे, अश्वनी कोसरे प्रेरक, मोहन सत्ऋषु, देव मानिकपुरी, सुरजीत टण्डन, गणेश महन्त नवलपुरिहा, वेदप्रकाश खाण्डेकर, चैतराम टण्डन, नवीन कुमार कुर्रे, अश्वनी पात्रे, इत्यादि साहित्यकारों ने मनभावन रचनाएँ पढ़ीं। विख्यात गीतकार सरजू प्रसाद दिवाकर ने तो वाद्ययंत्र के साथ भजन गाकर सबको मंत्र-मुग्ध कर दिया। उन्हें पुस्तकें एवं कलमकार साहित्य सरगम सम्मान प्रदान किये गए।
राष्ट्रीय महात्मा गांधी रत्न सम्मान मेडल से सम्मान
इस अवसर पर ग्लोबल ह्यूमन राइट्स फाउंडेशन द्वारा छत्तीसगढ़ कलमकार मंच के संस्थापक-अध्यक्ष डॉ. किशन टण्डन क्रान्ति को भारत के 100 महान व्यक्तित्व में शामिल कर राष्ट्रीय महात्मा गांधी रत्न सम्मान 2023 के मेडल पहनाकर सम्मानपत्र और ट्रॉफी समस्त साहित्यकारों द्वारा ससम्मान सौंपे गए।
उपस्थित साहित्यकारों एवं गणमान्य नागरिकों को डॉ. किशन टण्डन क्रान्ति द्वारा रचित पुस्तकों का निःशुल्क वितरण किया गया। इस कार्यक्रम को सफल बनाने में मणिशंकर दिवाकर एवं साथियों का सक्रिय योगदान रहा। कार्यक्रम का शानदार संचालन गायक-कवि जुगेश बंजारे धीरज एवं वीररस सम्राट जगतारन प्रसाद डहरे ने किया।