अर्पण कर जाऊँ

”अर्पण कर जाऊँ” श्रीमती आशा अतुल गुप्ता,साहित्यकार नौगांव छत्तरपुर मध्यप्रदेश

माँ तेरे आँखों की ज्योति मै बन जाऊँ तेरे दिल की मैं धड़कन बन जाऊँ। जितना मुझपे तूने प्यार लुटाया ……. उतना तुझपे मैं प्यार लुटाऊँ। तेरी हर एक खुशियों को मैं अपने दिल का …. अरमान बनाऊँ। तेरे दिल…

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