शादी कार्ड देना महज कर्तव्य का इतिश्री न हो

शादी कार्ड देना महज कर्तव्य का इतिश्री न हो मनोज जायसवाल संपादक सशक्त हस्ताक्षर कांकेर छ.ग.

– समाज का अर्थ आज एक आम अंतिम सिरे में खड़ा व्यक्ति भी बखुबी जानता है। दुनिया एक रंगमंच है और हम इसके कठपुतली। इसी मंच पर हमारा परिवार एवं समाज के बीच रिश्तों भावनाओं का आदान प्रदान होता है।…

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